PM Modi in UAE: प्रधानमंत्री मोदी की यूएई यात्रा के दौरान 10 समझौतों पर हस्ताक्षर: यहाँ जानें उनके महत्वपूर्ण कदम
भारत और यूएई के बीच बहुत पुराने संबंध है। 1971 में संयुक्त अरब अमीरात फेडरेशन के बनने के साथ इन रिश्तों मे और मजबूती आई है। अपनी यात्रा के दौरान प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी और यूएई के राष्ट्रपति ने कई द्विपक्षीय समझौतों पर सहमति जताई है ।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी संयुक्त अरब अमीरात(यूएई) के दौरे पर है। प्रधानमंत्री ने बुधवार को अपने इस दौरे में यूएई में बने हिंदू मंदिर का उद्घाटन किया है। अपनी दो दिवसीय यात्रा के दौरान पीएम ने कई कार्यक्रमों में भी हिस्सा लिया। वही यूएई सरकार के साथ बैठक भी हुआ है। मंगलवार को प्रधानमंत्री ने संयुक्त अरब अमीरात में भारतीय समुदाय के कार्यक्रम “अलहन मोदी ” को संबोधित किया था। इस दौरान पीएम ने भारत- यूएई दोस्ती जिन्दाबाद का नारा दिया था।
पीएम मोदी का यूएई दौरे में क्या रहा?
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और संयुक्त अरब अमीरात की यात्रा पर 13 फरवरी को अबू धाबी पहुचे। अपनी यात्रा में बुधवार यानी 14 फरवरी को प्रधानमंत्री ने अबू धाबी में बने बीएपीएस मंदिर का उद्घाटन किया। इससे पहले पीएम ने वहा के राष्ट्रपति शेख मोहम्मद बिन जायद अल नाहयान को उनके व्यक्तिगत सहयोग और मंदिर के निर्माण के लिए जमीन देने की लिए धन्यवाद किया। पीएम ने कहा कि दोनों पक्षों ने कहा कि बीएपीएस मंदिर संयुक्त अरब अमीरात- भारत मित्रता, गहरे सांस्कृतिक संबंधों का उत्सव है।
मोदी जी इस यात्रा क्या फायदे ?
दोनों देशों के नेता ने प्रतिनिधिमंडल स्तर की बातचीत की। उन्होंने दिपक्षीय साझेदारी की समीक्षा की और सायोग के नए क्षेत्रों पर बातचीत की। उहोने व्यापार और निवेश, डिजिटल बुनियादी ढ़ाचे, फिनटेक, ऊर्जा, संस्कृति और दोनों देशों के लोगों के आपसी संबंधों जैसे सभी मे व्यापक रणनीतिक साझेदारी को गहरा करने का स्वागत किये। चर्चा में क्षेत्रीय और वैश्विक मुद्दे भी शामिल रहे।
यात्रा के दौरे पर पीएम मोदी और यूएई के राष्ट्रपति शेख मोहम्मद बिन जायद अल नाहयान ने द्विपक्षीय समझौतों पर सहमति व्यक्त की है आइए जानते है क्या क्या समझौते हुए है।
· द्विपक्षीय निवेश संधि
· इलेक्ट्रिकल इंटरकनेक्शन और व्यापार के क्षेत्र में सहयोग पर समझौता
· भारत- पश्चिम एशिया आर्थिक गलियारे पर भारत और संयुक्त अरब अमीरात के बीच अंतर- सरकारी ढांचागत समझौता
· डिजिटल बुनियादी ढांचा परियोजनाओं में सहयोग पर समझौता
· दोनों देशों के राष्ट्रीय अभिलेखागार के बीच सहयोग प्रोटोकॉल
· विरासत और संग्रहालयों के क्षेत्र में सहयोग के लिए समझौता
· लेनदेन प्लेटफार्मों यूपीआई (भारत) और एएएनआई (यूएई) को आपस मे जोड़ने पर समझौता
· डेबिट/ क्रेडिट कार्ड रुपे (भारत) और जयवान(यूएई) को आपस मे जोड़ने पर समझौता
दोनों देशों के नेताओ ने ऊर्जा साझेदारी को मजबूत करने पर भी चर्चा की। उन्होंने सराहना की संयुक्त अरब अमीरात कच्चे तेल और एलपीजी के सबसे बड़े स्त्रोतों मे से एक होने के अलावा, भारत अब एलएनजी के लिए दीर्घकालिक अनुबंध मे प्रवेश कर रहा है।
यात्रा से पहले राइट्स ने अबू धाबी पॉर्ट्स कंपनी और गुजरात मैरीटाइम बोर्ड के साथ समझौते पर भी हस्ताक्षर किए। सरकार ने खा की इनसे बंदरगाह के बुनियादी ढ़ाचे के निर्माण और दोनों देशों के बीच संपर्क बढ़ने मे मदद मिलेगी।
भारत-यूएई के संबंध कैसे हैं?
संयुक्त अरब अमीरात और भारत के बीच वर्षों पुराने संबंध हैं। ये रिश्ते सांस्कृतिक और आर्थिक संबंधों पर आधारित है। 1971 में संयुक्त अरब अमीरात फेडरेशन के बनने के साथ इन रिश्तों में और प्रगाढ़ता आई है।
संयुक्त अरब अमीरात ने 1972 में नई दिल्ली में अपना पहला राजदूत नियुक्त किया। वहीं, भारत ने जून 1973 में संयुक्त अरब अमीरात में अपना पहला राजदूत नियुक्त किया। तब से दोनों पक्षों ने सभी क्षेत्रों में अपने संबंधों को और विकसित किया है।
दोनों देश किन-किन क्षेत्रों में भागीदार हैं?
संयुक्त अरब अमीरात और भारत ने वाणिज्य, व्यापार और निवेश के क्षेत्र में मजबूत साझेदारी की है। यह साझेदारी रक्षा, ऊर्जा, अंतरिक्ष और सूचना प्रौद्योगिकी क्षेत्रों में सहयोग पर जोर देने के साथ मजबूत हुई है। इसके अलावा दोनों देश रणनीतिक साझेदारी के रूप में उभर रहे हैं।
दोनों ओर से उच्च स्तरीय यात्राएं
समय-समय पर दोनों पक्षों की ओर से उच्च स्तरीय यात्राएं हुई हैं। यात्राओं से द्विपक्षीय संबंधों को भी गति मिली है। 15 जुलाई 2023 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पांचवीं बार संयुक्त अरब अमीरात का दौरा किया था। इस यात्रा के दौरान तीन महत्वपूर्ण समझौतों (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए गए। इसी दौरान अबू धाबी में भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान दिल्ली की स्थापना के लिए योजनाएं शुरू की गईं। प्रधानमंत्री मोदी की यूएई की पिछली यात्राएं अगस्त 2015, फरवरी 2018 और अगस्त 2019 में हुई थी जब उन्हें ऑर्डर ऑफ जायद मिला था। जून 2022 में यूएई के राष्ट्रपति पद संभालने के बाद शेख मोहम्मद बिन जायद अल नाहयान को शुभकामनाएं देने के लिए भी पीएम मोदी गए थे।
इस बीच, शेख मोहम्मद बिन जायद अल नाहयान ने तीन बार भारत का दौरा किया। पहले 2016 में, फिर 26 जनवरी 2017 को गणतंत्र दिवस समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में। इस यात्रा के दौरान यूएई-भारत संबंध को व्यापक रणनीतिक साझेदारी तक बढ़ाया गया। उनकी हालिया यात्रा में 8-10 सितंबर 2023 को हुई थी। अल नाहयान ने नई दिल्ली में जी 20 के 18 वें शिखर सम्मेलन में भाग लिया था, जिसमें यूएई को सम्मानित अतिथि के रूप में आमंत्रित किया गया था।